UP Shiksha Mitra आपको उत्तर प्रदेश के शिक्षामित्रों के लिए आई बड़ी खुशखबरी के बारे में बता रहा हूं। प्रदेश सरकार द्वारा पुरानी पेंशन योजना (OPS) को लेकर बड़ा कदम उठाए जाने की संभावना है। इसका सीधा लाभ उन शिक्षामित्रों को मिलेगा जो सहायक अध्यापक के पद पर नियुक्त हो चुके हैं।
उत्तर प्रदेश के प्राथमिक विद्यालयों में लगभग डेढ़ लाख शिक्षामित्र कार्यरत हैं। इनमें से कई शिक्षामित्र सहायक अध्यापक के पद पर पदोन्नत हुए हैं। उनके लिए पुरानी पेंशन योजना (OPS) लागू होने की बात हाई कोर्ट में चल रही है। इस फैसले के लिए तीन महीने का समय तय किया गया है, और इसके बाद शिक्षामित्रों को पुरानी पेंशन का लाभ मिलने की उम्मीद बढ़ गई है।
पुरानी पेंशन योजना पर क्या है ताजा अपडेट?
- 28 मार्च 2005 से पहले नियुक्त शिक्षामित्रों को लाभ
- हाई कोर्ट ने अपने आदेश में कहा है कि जो शिक्षामित्र 28 मार्च 2005 से पहले नियुक्त हुए थे और बाद में सहायक अध्यापक बने, उनकी पुरानी सेवा को जोड़कर पेंशन का लाभ दिया जाए।
- तीन महीने में हो सकता है फैसला
- उच्च न्यायालय ने बेसिक शिक्षा परिषद को निर्देश दिया है कि इस मामले को प्राथमिकता के आधार पर हल किया जाए।
- यह प्रक्रिया तीन महीने के भीतर पूरी की जाएगी।
- शिक्षामित्रों का पक्ष
- शिक्षामित्रों का कहना है कि उनकी सेवा 1 अप्रैल 2005 से पहले के विज्ञापन के आधार पर शुरू हुई थी।
- इस आधार पर वे पुरानी पेंशन के पात्र हैं।
शिक्षामित्रों के लिए क्यों महत्वपूर्ण है यह फैसला?
- पुरानी पेंशन योजना का लाभ:
पुराने पेंशन सिस्टम के तहत रिटायरमेंट के बाद एक स्थायी आय की गारंटी मिलती है। - सेवा जोड़ने का फायदा:
शिक्षामित्रों की पहले की सेवा अवधि को जोड़ने से उनकी पेंशन और अन्य लाभ बढ़ जाएंगे।
हाई कोर्ट और सरकार की भूमिका
- हाई कोर्ट का आदेश:
उच्च न्यायालय ने बेसिक शिक्षा परिषद के सचिव को निर्देश दिया है कि शिक्षामित्रों की सेवाओं को प्राथमिकता से जोड़ा जाए और रिपोर्ट सबमिट की जाए। - प्रदेश सरकार की भूमिका:
उत्तर प्रदेश सरकार इस मामले में जल्द ही निर्णय लेने वाली है। यदि पुरानी पेंशन योजना को मंजूरी मिलती है, तो यह शिक्षामित्रों के लिए ऐतिहासिक कदम होगा।
पुरानी पेंशन योजना का क्या होगा असर
- वित्तीय सुरक्षा:
शिक्षामित्रों और सहायक अध्यापकों को रिटायरमेंट के बाद स्थिर आय प्राप्त होगी। - न्याय की भावना:
पुरानी सेवाओं को जोड़ने से शिक्षामित्रों को उनके योगदान का सम्मान मिलेगा। - अन्य राज्यों पर प्रभाव:
यदि यह योजना लागू होती है, तो अन्य राज्यों के शिक्षामित्र भी अपनी मांगों को लेकर सक्रिय हो सकते हैं।
संक्षेप में
उत्तर प्रदेश के शिक्षामित्रों के लिए पुरानी पेंशन योजना एक बड़ा कदम हो सकता है। हाई कोर्ट और प्रदेश सरकार के निर्देश से यह उम्मीद है कि अगले तीन महीनों में यह फैसला लागू हो सकता है। शिक्षामित्रों को अब बेसब्री से इस फैसले का इंतजार है।

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